Wednesday, October 16, 2019

Simple sentences in sanskrit -Grah dhatu

*ॐ सुरभारत्यै नमः॥ जयश्रीकृष्ण ॥*

        *ग्रह् (९ उ पकड़ना)*
        *अयम् उभयपदी धातुः ।*
*परस्मैपदी👇   /    आत्मनेपदी👇*
*१-सः धेनुं गृह्णाति/माता सुतं गृह्णीते ।*
 (वह गाय पकड़ता है/माँ पुत्र को पकड़ती है।)

*२-भवान् घटं गृह्णातु/अयं लेखनीं गृह्णीताम् ।*
 (आप घड़ा पकड़िये/यह लेखनी पकड़िये।)

*३-एषा कन्दुकम् अगृह्णात्/मार्जारी अहिम् अगृह्णीत ।*
 (इसने गेंद पकड़ी/बिल्ली ने सर्प पकड़ा।)

*४-पचेलुकः दर्वीं गृह्णीयात्/भृत्यः छत्रं गृह्णीत ।*
 (रसोइया कलछुल पकड़े/नौकर छाता पकड़े।)

*५-द्वारपालः चोरं ग्रहीष्यति/भवती फलं ग्रहीष्यते ।*
 (चौकीदार चोर पकड़ेगा/आप फल पकड़ेंगी।)

   *कर्मवाच्य*
*❁मया/त्वया/एतेन खगः न गृह्यते ।*
 (मुझसे/तुमसे/इससे चिड़िया नहीं पकड़ा जाती है ।)

*जयतु संस्कृतम् ॥ॐ॥ जयतु भारतम् ॥*

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